मुंबई में खुली कोरोना की एक मेडिकल की दुकानमहज तीन सप्ताह के भीतर,
कोरोना की चपेट में हैं भारत के 26 राज्य और 100 से ज्यादा जिले, बनेंगे कोविड अस्पताल
मुंबई में खुली कोरोना की एक मेडिकल की दुकान
महज तीन सप्ताह के भीतर कोरोना वायरस देश के 100 से भी ज्यादा जिलों को अपनी चपेट में ले चुका है। गुरुवार तक देश के 26 राज्य व केंद्र शासित राज्य के 102 से ज्यादा जिलों में संक्रमित मरीज सामने आने के बाद अब हर जिले में कोविड अस्पताल बनाने की तैयारी शुरू हो चुकी है। फिलहाल राज्यों को कोरोना वायरस के लिए स्पेशल अस्पताल तैयार करने के निर्देश हैं लेकिन जल्द ही हर जिले में एक अस्पताल तैयार करने का आदेश जारी होगा।
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केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के सूत्रों की मानें तो कोरोना वायरस का भारत में भविष्य क्या होगा? इसके बारे में किसी को नहीं पता। हालांकि लॉकडाउन से काफी हद तक इस संक्रमण पर नियंत्रण पाने में कामयाबी मिलेगी, लेकिन सरकार आगामी दिनों पर काम शुरू कर चुकी है। नीति आयोग और देश के कई बड़े स्वास्थ्य विशेषज्ञ संयुक्त रुप से तीन महीने की गाइडलाइन तैयार करने में जुटे हैं।
इसके तहत हर जिले में कोविड अस्पताल तैयार करने के अलावा क्वारंटीन व आइसोलेशन, वेंटिलेटर, आईसीयू बेड में बढ़ोत्तरी, दो महीने की एडवांस पेंशन, घर जाकर मिड डे मील का भोजन वितरण, राशन की उपलब्धता और किसान-मजदूरों को मिलने वाली आर्थिक मदद में वृद्धि इत्यादि बिंदुओं पर योजना बनाई जा रही है।
(corona virus)
गुरुवार सुबह तक देश में कोरोना वायरस से 649 लोग संक्रमित हो चुके हैं जिनमें से 13 ने उपचार के दौरान दम तोड़ दिया। जबकि 42 मरीजों को इलाज के बाद छुट्टी दे दी गई है। इसके अलावा एक मरीज देश से जा चुका है। फिलहाल देश में 593 संक्रमित मरीज विभिन्न अस्पतालों में उपचाराधीन हैं।
नीति आयोग के सदस्य डॉ. वीके पॉल का कहना है कि कोरोना वायरस को लेकर देश अपनी तैयारियों में जुटा हुआ है। अभी तक की स्थिति का आंकलन करते हुए तीन महीने का खाका तैयार किया जा रहा है। राज्य और केंद्र मिलकर इस वायरस के खिलाफ लड़ाई लड़ रहे हैं। हालांकि इसमें आम जनता का सहयोग सबसे ज्यादा जरूरी है। सरकार योजनाबद्ध तरीके से जरूरतों को पूरा करने में जुटी हुई है।
जानकारी के अनुसार कोरोना वायरस को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्देशों पर बने मंत्री समूह की निगरानी में ये गाइडलाइन लगभग तैयार होने जा रही हैं। जल्द ही सभी राज्यों को मिलकर इस पर काम करना होगा।
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एक हजार वेंटिलेटर खरीदने की तैयारी में सरकार
कोरोना वायरस
मंत्रालय के एक और वरिष्ठ निदेशक ने बताया कि अभी तक देश में कोरोना वायरस के संक्रमित मरीजों में से 5 फीसदी से भी कम को वेंटिलेटर की जरूरत पड़ रही है। बावजूद इसके केंद्र सरकार करीब एक हजार वेंटिलेटर को खरीदने की तैयारी में है। इसके अलावा राज्यों को भी वेंटिलेटर व आईसीयू सेवाओं पर फोकस करने के आदेश दिए जा चुके हैं।
दरअसल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत में कोरोना वायरस को लेकर स्थिति गंभीर बताई जा रही है। अमेरिका और यूके के चिकित्सीय विशेषज्ञों ने यहां तक दावा किया है कि भारत के लिए अगले दो सप्ताह सबसे ज्यादा गंभीर हैं। वहीं एक अध्ययन में ये भी दावा किया है कि भारत के लिए कोरोनो से जंग अगले कुछ सप्ताह या महीनों तक लड़ी जा सकती है।
हालांकि भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के वैज्ञानिक इससे साफ इंकार कर चुके हैं। चीफ साइंटिस्ट डॉ. रमन गंगाखेड़कर बताते हैं कि भारत अभी भी दुनिया के बाकी देशों की तुलना में काफी बेहतर स्थिति में है। 21 दिन के लॉक डाउन से काफी हद तक नियंत्रण पाया जा सकेगा। आईसीएमआर के अध्ययन में भी ये साबित हो चुका है।
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